एक बोध-सूचक जोक
कल ही एक बोध-सूचक जोक सुना ....
मरीज ने शिकायत की –
डाक्टर साहब !, सारे बदन में दर्द है
बदन में जहाँ कहीं उंगली दबाता हूँ
बदन के उस हिस्से में दर्द महसूस होता है
मरीज पर गौर करते डाक्टर मुस्कुराये और बोले –
जनाब. दर्द आपकी उंगली में है, सारे बदन में नही
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जीवन की घनी पसरी वास्तविकता
अपने आप में
सुख दुःख के परे है
परन्तु अहंकार का स्पर्श होते ही
उस वास्तविकता से सुखने-दुखने
का अनुभव होने लगता है
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१) सारा सुख-दुःख अहंकार से उठता है
वास्तविकता से नही
२) अहंकार की प्रतिक्रिया को ही
अनुभव कहते हैं,
वास्तविकताएँ अनुभव से परे हैं
...........................................अरुण
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